महिलाएं समुद्र से लेकर अंतरिक्ष तक सफलता की नई इबारतें लिख रही हैं। यह सिर्फ जुमला भर नहीं है बल्कि ठोस हकीकत है। पिछले जुलाई माह में अमेरिकी एजेंसी नासा के न्यू हॉरिजन ने सौर मंडल के आखिरी ज्ञात बौने ग्रह के नजदीक से गुजर कर इतिहास रच दिया। यह घटना जुलाई माह में हुई लेकिन एक इतिहास जमीं पर भी रचा गया। यह पहला अंतरिक्ष मिशन था जिसमें सबसे अधिक महिलाओं की भागीदारी थी और उनकी वैज्ञानिक क्षमता से यह सफलता हाथ लगी।
इस समय न्यू हॉरिजन की टीम में करीब 200 वैज्ञानिक काम कर रहे हैं। लेकिन विगत एक दशक में हजारों की संख्या में इंजीनियर, अंतिरिक्ष वैज्ञानिकों ने काम किया। लेकिन यान को प्लूटो के नजदीक ले जाने और ग्रह के साथ उसके पांच चंद्रमाओं को खंगालने का काम जो फ्लाईबाई टीम देख रही थी, उसकी एक चौथाई सदस्य महिलाएं थीं। एस्ट्रोफिजिस्ट किबर्ले इनिको जिन्होंने न्यू हॉरिजन मिशन के लिए कई उपकरणों को बनाया व संचालित किया कहती हैं कि लोग मानते हैं कि महिलाएं केवल सहयोगी की भूमिका में होंगी। लेकिन सच्चाई है कि कई बार नियंत्रण कक्ष में वह अकेली होती थी और मिशन से जुड़ी जिम्मेदारियों का बखूबी निर्वाह करती थी।
मिशन से जुड़ी महिला वैज्ञानिकों को भरोसा है कि एक दिन वह इस तरह के मिशनों को अंजाम देने के मामले में बहुमत में होंगी। इनिको कहती है कि वह अब तक चार मिशनों का हिस्सा बन चुकी हैं। अपने अनुभव से कह सकती हैं कि महिलाओं की संख्या बढ़ रही है और इससे उनमें और आत्मविश्वास आएगा। उन्होंने कहा वह बेहतर स्थिति होगी जब पुरुषों से अधिक नहीं तो कम से कम बराबर महिलाएं नियंत्रण कक्ष में हो, क्योंकि एक या दो की संख्या में होने से वे खुद को सहज महसूस नहीं करती हैं।
भेदभाव हकीकत
इनिको ने स्वीकार किया है कि महिला वैज्ञानिकों को लेकर पूर्वाग्रह है। उन्होंने बताया कई बार उनसे सचिव जैसा व्यवहार करते हुए नोट तैयार करने को कहा गया। लेकिन इनिको ने पूरे आत्मविश्वास से इसका प्रतिकार करते हुए कहा कि वह अपने लिए नोट बना रही हैं ना कि उनके लिए। गौरतलब है कि वर्ष 2012 में प्रतिष्ठित येल यूनिवर्सिटी ने भी अपने शोध में पाया था कि महिला वैज्ञानिकों के साथ भेदभाव होता है और उन्हें पुरुषों के मुकाबले कम तनख्वाह दी जाती है।
इनके हाथों में नेतृत्व
- फ्रान बेगनल: पार्टिकल एवं प्लाजमा विज्ञान टीम की प्रमुख, वरिष्ठ अंतरिक्ष वैज्ञानिक होने के साथ यूनिवर्सिटी ऑफ कोलरेडो की सेवानिवृत्त प्रोफेसर
- एलिस बाउमैन: मिशन संचालन प्रबंधन, न्यू हॉरिजन के सबसे जटिल समय में मिशन संचालन केंद्र की संभाली, पल-पल के आंकड़ों पर रखी नजर
- टिफने फिनले: विज्ञान संचालन टीम की प्रबंधन, इस टीम की जिम्मेदारी यान द्वारा किए जाने वाले वैज्ञानिक शोधों की प्राथमिकता तैय करनी थी
- यानपिंग ग्यू: मिशन डिजाइन की नेता, यान के रास्ते को तैय करना खासतौर पर बृहस्पति ग्रह के गुरुत्वाकर्षण से बचाकर यान को आगे भेजना बड़ी चुनौती
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