'शब्द शिखर' पर 15 मई , 2010 को प्रस्तुत पोस्ट शेर नहीं शेरनियों का राज को रायपुर से प्रकाशित हिंदी पत्र 'आज की जनधारा' के साप्ताहिक स्तंभ 'ब्लॉग कोना' में 16 मई को स्थान दिया गया है.'आज की जनधारा' में पहली बार मेरी किसी पोस्ट की चर्चा हुई है और समग्र रूप में प्रिंट-मीडिया में 20वीं बार मेरी किसी पोस्ट की चर्चा हुई है.. आभार !!
इससे पहले शब्द-शिखर और अन्य ब्लॉग पर प्रकाशित मेरी पोस्ट की चर्चा अमर उजाला,राष्ट्रीय सहारा,राजस्थान पत्रिका,गजरौला टाईम्स, डेली न्यूज़ एक्टिविस्ट, दस्तक, आई-नेक्स्ट, IANS द्वारा जारी फीचर में की जा चुकी है. आप सभी का इस समर्थन व सहयोग के लिए आभार! यूँ ही अपना सहयोग व स्नेह बनाये रखें !!
(चित्र साभार : प्रिंट मीडिया पर ब्लॉगचर्चा)
22 टिप्पणियां:
आकाँक्षा जी बहुत बहुत बधाई।
बढ़िया आलेख...बधाई आकांक्षा जी
लेख पढ़ा था मैंने बढ़िया लगा था , बधाई हो आपको ।
wow ...Congrats ...
बहुत बधाई.
आपको बधाई और इसे छापने वाले भाई संजीत जी को भी बधाई.
आकाँक्षा जी बहुत बहुत बधाई।
बहुत बहुत बधाई ,,,बस इसी तरह तत्पर रहिये
आभार
विकास पाण्डेय
www.vicharokadarpan.blogspot.com
बधाई ही बधाई.....20 वीं चर्चा की बीसियों बार बधाई !!
'आज की जनधारा' में पहली बार मेरी किसी पोस्ट की चर्चा हुई है और समग्र रूप में प्रिंट-मीडिया में 20वीं बार मेरी किसी पोस्ट की चर्चा हुई है..बधाई आकांक्षा जी.
यह तो ख़ुशी की बात है. आपकी लेखनी का कमाल है..बधाई.
आकांक्षा यादव जी को शुभकामनायें.
आपकी सर्वत्र चर्चा हो. यही कामना है..बधाई.
इस उपलब्धि पर मुबारकवाद..आपकी रचनाएँ अक्सर पढने को मिलती हैं.
शेर पर हावी शेरनी...बहुत खूब. चर्चा तो होनी ही थी.
शेर पर हावी शेरनी...बहुत खूब. चर्चा तो होनी ही थी.
cONGTS..........!!
आप लिखती भी तो उम्दा हैं...20 वीं बार चर्चा, यही क्या कम है.
मैंने भी पढ़ा. सार्थक व प्रभावशाली पोस्ट..बधाई.
wow ...Congrats ...
इसे कहते हैं सेर पर सवा सेर...मुबारक हो आकांक्षा जी.
बधाई ही बधाई.
पर कब मिलेगी मिठाई.
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